मेरे मन में आशा जगी है कि जम्मू-कश्मीर में हमेशा के लिए शांति हो सकती है- केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह

समग्र समाचार सेवा
जम्मू, 25अक्टूबर। केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह ने अपनी जम्मू-कश्मीर यात्रा के तीसरे दिन आज श्रीनगर में विभिन्न विकास परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया। इस अवसर पर जम्मू कश्मीर के उपराज्यपाल श्री मनोज सिन्हा और केन्द्रीय मंत्री डॉ. जितेन्द्र सिंह समेत अनेक गणमान्य व्यक्ति भी उपस्थित थे।

इस अवसर पर अपने संबोधन में श्री अमित शाह ने कहा कि 5 अगस्त 2019 को सरकार ने एक फ़ैसला किया था और प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में जम्मू-कश्मीर, विशेषकर घाटी में विकास के नए युग की शुरूआत हुई है और वर्ष 2024 तक आपको इसका ख़ूबसूरत परिणाम भी देखने को मिलेगा। उन्होंने कहा कि कश्मीर का चहुंमुखी विकास मोदी जी की दिली इच्छा है और मैं विकास की बात करने ही आया हूं। लेकिन उससे पहले मैं अपने मन की बात भी करना चाहता हूं, मुझे बहुत ताने सुनाए गए, कोसा गया, बहुत कड़े शब्दों में मेरी निंदा की गई और मैं आज आपके साथ दिल खोलकर बात करना चाहता हूं इसीलिए आज मैं आपके सामने बिना बुलेटप्रूफ़ और सिक्युरिटी के खड़ा हूं।

केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा कि फ़ारूख़ अब्दुल्ला ने मुझे सलाह दी है कि भारत सरकार पाकिस्तान से बात करे, लेकिन मैं फ़ारूख़ साहब और विशेषकर आप सबसे कहना चाहता हूं कि बात करनी है तो मैं घाटी के अपने भाई बहनों और युवाओं से बात करूंगा। उन्होंने कहा कि हम आपके साथ बात करना चाहते हैं, इसीलिए युवाओं से बात करते समय मैंने कहा था कि मैं घाटी के युवाओं के साथ दोस्ती करना चाहता हूं और मैंने उनकी तरफ़ दोस्ती का हाथ बढ़ाया। मुझे भरोसा है क्योंकि हमारी नीयत में कोई खोट नहीं है, मन में कोई बुरा भाव नहीं है। घाटी, जम्मू-कश्मीर और नए बने लद्दाख के विकास के एकमात्र पवित्र लक्ष्य के साथ ये क़दम उठाया गया है। मैं आपसे कहता हूं कि वर्ष 2024 से पहले कश्मीर को जो चाहिए था, वो आपकी नज़रों के सामने होगा। श्री शाह ने कहा कि मोदी जी के दिल में कश्मीर बसता है, जब भी बात करते हैं तो कहते हैं कि सारी योजनाएं ठीक से पहुंच रही हैं या नहीं, वे पूछते हैं कि सारी योजनाओं का लाभ भारत के बाक़ी राज्यों की तरह जम्मू-कश्मीर में पहुंचता है या नहीं।

श्री अमित शाह ने कहा कि मैं आपको विश्वास दिलाना चाहता हूं कि आप दिल से ख़ौफ़ निकाल दीजिए, कश्मीर की शांति और विकास यात्रा में कोई ख़लल नहीं डाल सकता और आप भारत सरकार पर भरोसा कर सकते हैं। इस विकास यात्रा में ख़लल पहुंचाने वालों की नीयत और मक़सद साफ़ नहीं है। वे मुझे कहते हैं कि 5 अगस्त के बाद कर्फ़्यू क्यों लगाया, इंटरनेट क्यों बंद किया। वे कश्मीर के युवाओं को गुमराह करते हैं और मैं आज इन सबको जवाब देना चाहता हूं कि कश्मीर की आवाम का देश पर उतना ही अधिकार है जितना मेरा। उन्होंने कहा कि 5 अगस्त के बाद अगर इंटरनेट ना बंद करते, कर्फ़्यू ना लगाते, तो युवाओं की भावनाओं को भड़काकर जो स्थिति पैदा होती, उसमें कौन मरता, कश्मीर का युवा मरता। हम नहीं चाहते थे कि कश्मीर के युवा पर किसी को गोली चलानी पड़े। ये लोग समझें ना समझें, इन तीन परिवारों ने यहां 70 साल तक शासन किया है, हम समझते हैं कि एक बूढ़े बाप के कंधों पर उसके जवान बेटे के जनाज़े का बोझ कितना बड़ा होता है। इनके शासन में 40 हज़ार लोग घाटी में मारे गए और आज तक आतंकवाद और दहशतगर्दी की निंदा नहीं की है। ये कहते हैं कि अगर कोई मारा गया तो ठीक नहीं हुआ, मगर जिसने मारा क्या उसने ठीक किया, ये नहीं कहते हैं। मैं आपके सामने ये साफ़ करने आया हूं कि उनको मारने की इजाज़त हम नहीं देंगे, उनको शांति में ख़लल नहीं पहुंचाने देंगे और यहां अमन-चैन बरक़रार रहेगा।
श्री अमित शाह ने कहा कि सूफ़ीज़्म मध्य एशिया और ईरान से कश्मीर के रास्ते भारत आया था और कश्मीर ने पूरे भारत को सूफ़ीज़्म की भेंट दी थी। मैं सूफ़ी संतों से मिलकर आया हूं और मेरे मन में आशा जगी है कि जम्मू-कश्मीर में हमेशा के लिए शांति हो सकती है। उन्होंने कश्मीर के युवाओं से अपील करते हुए कहा कि जिन्होंने आपके हाथ में पत्थर और हथियार पकड़ाए, उन्होंने क्या भला किया। ये पाकिस्तान की बात करते हैं। पाक अधिकृत कश्मीर नज़दीक़ में ही है, वहां पूछिए गांव में बिजली, अस्पताल, मेडीकल कॉलेज, पीने का पानी, बहनों के लिए शौचालय है क्या। वहां कुछ नहीं है और ये लोग पाकिस्तान की बात करते हैं। मैं आपसे कहने आया हूं कि भारत में इतना ही अधिकार आपका है, जितना भारत के किसी भी नागरिका का भारत पर है। विकास और भारत सरकार के ख़ज़ाने पर आपका उतना ही अधिकार है जितना भारत के हर नागरिक का है। एक भरोसे के साथ कश्मीर के लोगों को इस प्रक्रिया को आगे बढ़ाना है।

श्री शाह ने कहा कि 55000 लोगों को घर देने की शुरूआत मोदी जी ने की है, जिनमें से 20 हज़ार से ज़्यादा लोगों को जम्मू-कश्मीर में घर मिल भी चुके हैं। उन्होंने कहा कि मैं आपसे वादा करता हूं कि दिसंबर 2022 से पहले कोई बेघर नहीं रहेगा और सबके पास अपना घर होगा। मोदी जी ने कश्मीर के हर घर में शौचालय पहुँचाने का काम पूरा कर दिया है, साथ ही हर घर में नल से पीने का शुद्ध पानी पहुँचाने का काम भी शुरू हो गया है। घाटी के दो ज़िलों में नल से पानी पहुँचाने का काम पूरा हो चुका है और इस साल दिसंबर तक 11 अन्य ज़िलों में यह काम संपन्न हो जाएगा। दिसंबर 2022 तक कश्मीर के हर घर में नल से जल पहुँचाने का काम पूरा हो जाएगा। श्री शाह ने कहा कि बार बार सवाल पूछने वालों से मैं यह जानना चाहता हूँ कि उन्होंने गैस, शौचालय, घर, बिजली और हर घर में नल से पीने का पानी क्यों नहीं दिया।

श्री शाह ने कहा कि कोरोना के प्रकोप में पूरी दुनिया लड़ी, मोदी जी के नेतृत्व में भारत और कश्मीर भी लड़ा। कोरोना का टीका ढूंढ लिया गया और इसे देने की शुरुआत हुई। देश में सबसे पहले 100% वैक्सीनेशन जम्मू-कश्मीर का हुआ है क्योंकि मोदी जी मानते हैं कि जम्मू कश्मीर ने बहुत घाव झेले हैं और सबसे पहले जम्मू कश्मीर को कोरोना से सुरक्षित करना चाहिए। जम्मू कश्मीर के युवा और वृद्ध समेत हर व्यक्ति को टीके की पहली डोज़ देने का काम समाप्त हो गया है। दूसरे चरण का काम भी 50% समाप्त हो गया है। उन्होने कहा कि यह कश्मीर के लिए श्री नरेंद्र मोदी जी के लगाव का एक उदाहरण है।

श्री अमित शाह ने कहा कि मोदी जी यहां विकास के काम को आगे बढ़ाना चाहते हैं, क्या घाटी और कश्मीर का युवा मोदी जी के इस काम में साथ देने के लिए तैयार है। उन्होने कहा कि हम युवाओं को गुमराह नहीं होने देंगे, उनके हाथ में पत्थर नहीं रहने देंगे और यही जज्बा जम्मू कश्मीर का विकास करेगा। केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा कि घाटी और कश्मीर का विकास ना कोई सरकार, ना गवर्नर और ना ही मैं कर सकता हूँ बल्कि मेरी घाटी की आवाम, युवा और यहां की जनता ही यह कर सकती है। उन्होंने कहा कि मैं बड़े मन से घाटी के लोगों के साथ दिल खोलकर यह कहने आया हूं कि घाटी में नए युग की शुरुआत करने का समय आ गया है। दकियानूसी बातों से बाहर निकलिए, गुमराह करने वालों से सवाल पूछिए कि उन्होंने क्या किया। उन्होने कहा कि अब बहुत हो गया, 40000 लोग मारे गए हैं, अब हमें वापस आना है या नहीं आना है? श्री शाह ने कहा कि जम्मू कश्मीर और घाटी की जनता यह तय करे कि मोदी जी के रास्ते पर आगे बढ़ना है और जम्मू कश्मीर को देश का सबसे विकसित सूबा बनाना है।

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