समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 10 अक्टूबर: बिहार विधानसभा चुनाव से पहले गठबंधन दलों के बीच सीट-बंटवारे की चर्चाएं जोर पकड़ रही हैं। केंद्रीय मंत्री और भाजपा नेता नित्यानंद राय ने शुक्रवार को राष्ट्रीय राजधानी में लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के अध्यक्ष चिराग पासवान से मुलाकात के बाद कहा कि सीट-बंटवारे को लेकर वार्ता सकारात्मक रूप से आगे बढ़ रही है।
राय ने संवाददाताओं से कहा, “चिराग पासवान केंद्रीय मंत्री हैं और उन्होंने जो कहा, उसमें किसी प्रकार की संकोच नहीं है। सब कुछ सकारात्मक है।”
चिराग पासवान ने भी इस बात की पुष्टि की और बताया कि सीट-बंटवारे की वार्ता अंतिम चरण में पहुंच चुकी है और जल्द ही इसका ऐलान किया जाएगा। उन्होंने कहा, “हर एक विवरण का अध्ययन किया जा रहा है ताकि दोनों पक्षों के हितों का ध्यान रखा जा सके। नित्यानंद जी की तरह हम भी कहते हैं कि सब कुछ सकारात्मक है।”
इस बीच, हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा (सैकेयूलर) के अध्यक्ष जितन राम मांझी ने सोशल मीडिया पर एक क्रिप्टिक पोस्ट साझा की, जिसमें वे संभावित सीट-बंटवारे को लेकर असंतोष जताते दिखाई दिए। पोस्ट में उन्होंने लिखा, “हो न्याय अगर तो आधा दो, यदि उसमें भी कोई बाधा हो, तो दे दो केवल 15 ग्राम, रखो अपनी धरती तमाम, हम वही खुशी से खाएंगे, परिजन पे आसी न उठाएंगे।” हालांकि, मांझी ने ANI से कहा कि उनका किसी पार्टी से कोई विवाद नहीं है, उनका मुख्य उद्देश्य अपनी पार्टी को बिहार विधानसभा में मान्यता दिलाना है।
वहीं, विपक्षी महागठबंधन में कांग्रेस नेता तारीक अनवर ने कहा कि आगामी बिहार विधानसभा चुनाव के लिए महागठबंधन में सीट-बंटवारे का निर्णय जल्द ही फाइनल किया जाएगा। उन्होंने ANI से कहा, “हमारी समन्वय समिति लगातार बैठकें कर रही है, सीट-बंटवारा जल्द फाइनल होगा।”
महागठबंधन और NDA के बीच मुकाबला कड़ा होने की संभावना है। एनडीए का नेतृत्व भाजपा और जदयू कर रही है, जबकि INDIA ब्लॉक में राष्ट्रवादी जनता दल (RJD) के तेजस्वी यादव, कांग्रेस, CPI(ML), CPI, CPM और विकासशील इंसान पार्टी (VIP) के मुखिया मुकेश सहानी शामिल हैं। नए खिलाड़ी प्रशांत किशोर की जन सूरत ने भी राज्य की सभी 243 सीटों पर दावेदारी की है।
चुनाव आयोग ने बिहार विधानसभा चुनाव की तारीखें घोषित कर दी हैं। सभी 243 विधानसभा सीटों पर मतदान दो चरणों में होगा – 6 और 11 नवंबर 2025 को, जबकि मतगणना 14 नवंबर को होगी।
राजनीतिक विश्लेषक मानते हैं कि NDA और महागठबंधन दोनों ही गठबंधन अपने उम्मीदवारों की घोषणा और सीट-बंटवारे में तेजी लाकर अंतिम मोर्चे को मजबूत करने में जुटे हैं। सीटों के बंटवारे और गठबंधन की अंतिम रणनीति चुनाव के परिणामों पर निर्णायक प्रभाव डाल सकती है।
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