समग्र समाचार सेवा
हरियाणा, 22जून। ‘अग्निपथ’ योजना के खिलाफ देश के कई राज्यों में विरोध-प्रदर्शन हो रहा है. सेना में भर्ती की इस नई योजना के खिलाफ कई राज्यों में प्रदर्शनकारी सड़कों पर हैं.’ युवाओं के मन में सबसे बड़ा सवाल यह है कि चार साल बाद उनका क्या होगा? कई राज्यों और उद्योगपतियों ने सेना से निकलने के बाद नौकरी की पेशकश की है. इन सबके बीच हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने मंगलवार को घोषणा की कि हरियाणा सरकार सशस्त्र बलों में चार साल के कार्यकाल के बाद ‘अग्निवीरों’ को रोजगार की ‘गारंटी’ देगी. हालांकि, विपक्षी दल कांग्रेस ने खट्टर से सवाल किया कि उनकी सरकार पूर्व सैनिकों को समायोजित करने के लिए 50 प्रतिशत आरक्षण से परे ‘एक और श्रेणी कैसे बनाएगी.’
खट्टर ने अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर भिवानी में आयोजित राज्य स्तरीय एक कार्यक्रम में कहा, ‘मैं घोषणा करता हूं कि जो कोई (अग्निवीर) हरियाणा सरकार की सेवाओं में शामिल होना चाहता है, उसे नौकरी की गारंटी दी जाएगी. कोई बेरोजगार नहीं रहेगा. हम इसकी गारंटी लेंगे.’ मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा अग्निवीरों के लिए रोजगार सुनिश्चित करने वाला देश का पहला राज्य है. उन्होंने कहा कि पूर्व सैनिकों को ‘ग्रुप सी’ सेवाएं यानी अराजपत्रित पद जैसे कि क्लर्क, शिक्षक और कार्यालय सहायक और पुलिस बल में शामिल किया जाएगा.
खट्टर ने ट्वीट कर कहा, ‘मैं घोषणा करता हूं कि ‘अग्निपथ’ योजना के तहत, चार साल तक देश की सेवा करने के बाद वापस आने वाले अग्निवीरों को गारंटी के साथ हरियाणा सरकार में नौकरी दी जाएगी.’ मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विभिन्न क्षेत्रों में आमूलचूल सुधार किये हैं और अग्निपथ उसी पहल का एक हिस्सा है.
उनकी घोषणा के बाद से कांग्रेस ने उनकी आलोचना शुरू कर दी. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने मुख्यमंत्री से कहा कि वे युवाओं को लुभाने के लिए उन्हें ‘लॉलीपॉप’ न दें. उन्होंने मुख्यमंत्री से पूछा कि आप 50 फीसदी आरक्षण के अलावा दूसरी श्रेणी कैसे बनाएंगे? सुरजेवाला ने कहा, ‘फिर कोई भी अग्निपथ योजना के तहत बनाई गई इस अतिरिक्त श्रेणी को अदालत में चुनौती देगा और युवाओं के पास फिर से कोई विकल्प नहीं बचेगा.’ सुरजेवाला ने ट्वीट कर कहा, ‘प्रधानमंत्री से कहिये कि चार साल बाद सभी अग्निवीरों को सेना में शामिल करें. युवाओं को गुमराह न करें.’
हरियाणा खेल में मेडल लाने वाले अपने पहलवान को भी नौकरी देता है…
और अब मातृभूमि की रक्षा को समर्पित सेना के जवान (अग्निवीरों) को भी देगा।आप बस देश की चिंता करिए आपकी चिंता हम करेंगे…
जवान, किसान और पहलवान ये हैं हरियाणा की शान।
— Manohar Lal (@mlkhattar) June 21, 2022
हरियाणा भारतीय किसान यूनियन (चढूनी) प्रमुख गुरनाम सिंह चढूनी ने एक ट्वीट में मुख्यमंत्री से उन पूर्व सैनिकों की भर्ती करने को कहा, जो पहले ही सशस्त्र बलों में अपना कार्यकाल पूरा कर चुके हैं लेकिन अब बेरोजगार हैं. उन्होंने कहा, ‘मनोहर लाल खट्टर जी, कुछ शर्म करो. देश के युवाओं और सैनिकों को झूठा आश्वासन देकर देश को बेवकूफ क्यों बना रहे हो? देश में 55 हज़ार सैनिक हर साल सेवानिवृत्त होते हैं और उनमें से केवल पांच प्रतिशत को ही नौकरी मिलती है. पहले उन्हें तो नौकरी दे दो.’
14 जून को घोषित ‘अग्निपथ’ योजना के तहत सशस्त्र बलों में साढ़े 17 वर्ष से 21 वर्ष की आयु के युवाओं को संविदा के आधार पर चार साल के लिए भर्ती करने का प्रावधान है. इनमें से 25 प्रतिशत युवाओं को नियमित सेवा में बरकरार रखा जाएगा. योजना को लेकर देश के कई हिस्सों में हिंसक विरोध-प्रदर्शन हुए, जिसके बाद सरकार ने 2022 में भर्ती के लिए बीते गुरुवार को ऊपरी आयु सीमा बढ़ाकर 23 वर्ष कर दी.
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