द्विपक्षीय संबंधों को और प्रगाढ़ करने के लिए पर्यटन तथा दोनों देशों के लोगों के बीच संपर्क बढ़ाने के लिए प्रयास करने की आवश्यकता : राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने राष्ट्रपति भवन में कंबोडिया नरेश की, की मेजबानी

समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 31 मई। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने 30 मई को राष्ट्रपति भवन में कंबोडिया के नरेश महामहिम प्रेह बैट समदेच प्रीह बोरोमनीथ नोरोडोम सिहामोनी का स्वागत किया और उनके सम्मान में भोज का आयोजन किया।
भारत की पहली यात्रा पर आये राजा सिहामोनी का स्वागत करते हुए, राष्ट्रपति ने कहा कि उनकी यात्रा कंबोडिया के भारत के साथ अपने संबंधों को दिए जाने वाले महत्व को प्रदर्शित करती है। उन्होंने कहा कि भारत और कंबोडिया के बीच समृद्ध और जीवंत संबंध हैं। हम अपने साझा इतिहास को महत्व देते हैं और कंबोडिया को अपना सभ्य नजदीकी देश मानते हैं।

राष्ट्रपति ने कहा कि भारत और कंबोडिया के बीच व्यापार और निवेश में और वृद्धि की काफी संभावनाएं हैं। उन्होंने कहा कि भारत कंबोडिया के साथ अपने रक्षा संबंधों को और प्रगाढ़ करने का इच्छुक है। उन्होंने दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंधों को आगे बढ़ाने के लिए पर्यटन और लोगों के बीच संपर्क बढ़ाने के प्रयास करने की आवश्यकता पर भी जोर दिया।

राष्ट्रपति ने कहा कि भारत जी-20 की अध्यक्षता में वैश्विक दक्षिण के विकासशील देशों के हितों की अगुवाई कर रहा है। उन्होंने इस साल फरवरी में वॉयस ऑफ ग्लोबल साउथ समिट के उद्घाटन सत्र में प्रधानमंत्री हुन सेन की भागीदारी की सराहना की। उन्होंने पिछले साल आसियान की अध्यक्षता सफलतापूर्वक पूरी करने के लिए कंबोडिया को बधाई दी।

इसके बाद, अपने राजभोज भाषण में, राष्ट्रपति ने कहा कि क्षमता निर्माण, मानव संसाधनों के विकास और सामाजिक-आर्थिक परियोजनाओं के लिए सहायता प्रदान करने के माध्यम से राष्ट्र निर्माण की अपनी खोज में कंबोडिया का भागीदार होना भारत के लिए सौभाग्य की बात है। उन्होंने कहा कि भारत वसुधैव कुटुम्बकम के दर्शन में विश्वास करता है, जिसका अर्थ है, ‘विश्व एक परिवार’ है। उन्होंने कहा कि भारत और कंबोडिया के बीच बहुआयामी संबंध और आज हमारे साथ राष्ट्रपति भवन में महामहिम की गरिमामयी उपस्थिति इस सदियों पुरानी अवधारणा की सुंदर अभिव्यक्ति हैं।

Comments are closed.