समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 1 मार्च। छठे चरण की लड़ाई भी काफी दिलचस्प है। इस बार चुनाव मैदान में खुद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ हैं। 18 साल बाद यह पहली बार होगा जब यूपी में कोई मौजूदा मुख्यमंत्री चुनाव लड़ रहा है। इसके पहले साल 2003-04 में मुलायम सिंह यादव ने मुख्यमंत्री रहते हुए गुन्नौर से चुनाव लड़ा था। तब से लेकर अब तक जिसने भी यूपी की सत्ता संभाली वह विधान परिषद के रास्ते ही सीएम की कुर्सी तक पहुंचा। फिर वह 2007 में मायावती हों या 2012 अखिलेश यादव और 2017 में योगी आदित्यनाथ।
गोरखपुर शहरी : सीएम योगी के खिलाफ भीम आर्मी के मुखिया
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ गोरखपुर की शहरी सीट से चुनाव लड़ रहे हैं। सीएम योगी के खिलाफ आजाद समाज पार्टी और भीम आर्मी के मुखिया चंद्रशेखर आजाद ने ताल ठोकी है। इसके अलावा समाजवादी पार्टी ने सुभावती शुक्ला और बहुजन समाज पार्टी ने ख्वाजा शमसुद्दीन को मैदान में उतारा है। कांग्रेस की तरफ से डॉ. चेतना पांडेय को प्रत्याशी बनाया गया है। 2017 में यहां से भाजपा के डॉ. राधा मोहन ने जीते थे।
बांसडीह सीट से रामगोविंद चौधरी
बलिया की बांसडीह सीट से समाजवादी पार्टी नेता और विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष राम गोविंद चौधरी चुनाव लड़ रहे हैं। राम गोविंद के खिलाफ भाजपा ने केतकी सिंह, बसपा ने मान्ती राजभर और कांग्रेस ने पुनीत पाठक को अपना उम्मीदवार बनाया है। 2017 में भी इस सीट पर सपा के राम गोविंद चौधरी जीते थे।
फाजिल नगर से किस्मत आजमां रहे स्वामी प्रसाद मौर्य
योगी सरकार में मंत्री पद छोड़कर सपा का दामन थामने वाले स्वामी प्रसाद मौर्य इस बार सपा के टिकट पर फाजिल नगर से चुनाव लड़ रहे हैं। स्वामी प्रसाद के खिलाफ भाजपा ने सुरेंद्र कुशवाहा, बसपा ने ईलियास और कांग्रेस ने सुनील मनोज सिंह को मैदान में उतारा है। पिछली बार इस सीट पर भाजपा प्रत्याशी गंगा सिंह कुशवाहा जीते थे।
तमकुही राज से कांग्रेस के अजय कुमार लल्लू
कुशीनगर की तमकुही राज सीट से कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू खुद चुनाव लड़ रहे हैं। पिछली बार भी अजय लल्लू ने इस सीट पर जीत दर्ज की थी। इस बार उनके खिलाफ भारतीय जनता पार्टी ने असीम कुमार, सपा ने उदय नारायण और बसपा ने संजय को मैदान में उतारा है।
इटवा से योगी के मंत्री बनाम पूर्व विधानसभा अध्यक्ष
सिद्धार्थनगर की इटवा सीट से इस बार दो दिग्गज आमने-सामने हैं। भाजपा ने योगी सरकार में बेसिक शिक्षा मंत्री डॉ. सतीश चंद्र द्विवेदी को मैदान में उतारा है, जबकि समाजवादी पार्टी की तरफ से पूर्व विधानसभा अध्यक्ष माता प्रसाद पांडेय प्रत्याशी बनाए गए हैं। बसपा ने हरिशंकर सिंह और कांग्रेस ने अरशद खुर्शीद को टिकट दिया है। पिछली बार भी इस सीट पर डॉ. सतीश चंद्र द्विवेदी ने ही जीत दर्ज की थी।
पथरदेवा से सूर्य प्रताप शाही लड़ रहे चुनाव
देवरिया की पथरदेवा सीट से भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और योगी सरकार में मंत्री सूर्य प्रताप शाही चुनाव लड़ रहे हैं। शाही के खिलाफ समाजवादी पार्टी ने ब्रह्माशंकर त्रिपाठी, बसपा ने परवेज आलम और कांग्रेस ने अंबर जहां को टिकट दिया है। पिछली बार यहां से भाजपा के सूर्य प्रताप शाही जीते थे।
देवरिया से सीएम के मीडिया सलाहकार खुद मैदान में
देवरिया सीट से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के सलाहकार शलभ मणि त्रिपाठी चुनाव मैदान में हैं। शलभ के खिलाफ समाजवादी पार्टी ने अजय प्रताप सिंह, बसपा ने रामसरन और कांग्रेस ने पुरुषोत्तम नारायण सिंह को टिकट दिया है। पिछली बार इस सीट से भाजपा के जन्मेजय सिंह ने जीत हासिल की थी।
फेफना से खेल मंत्री बनाम संग्राम सिंह और कमल देव
बलिया की फेफना सीट भी चर्चा में है। यहां से योगी सरकार में खेल मंत्री उपेंद्र तिवारी चुनाव लड़ रहे हैं। उपेंद्र के खिलाफ समाजवादी पार्टी ने संग्राम सिंह और बहुजन समाज पार्टी ने कमल देव को मैदान में उतारा है। कांग्रेस की तरफ से जयनेंद्र को टिकट मिला है। 2017 में इस सीट से उपेंद्र तिवारी जीते थे।
कटेहरी विधानसभा से लालजी वर्मा व अवधेश कुमार में मुकाबला
अंबेडकरनगर की कटेहरी सीट भी चर्चा में है। यहां से बसपा के बागी विधायक लालजी वर्मा इस बार समाजवादी पार्टी के टिकट से मैदान में हैं। लालजी के खिलाफ बसपा के प्रतीक पांडेय और भाजपा गठबंधन से निषाद पार्टी के अवधेश कुमार मैदान में हैं। कांग्रेस ने निशात फातिमा को उम्मीदवार बनाया है। पिछली बार यह सीट बसपा के खाते में गई थी।
बलिया नगर से दयाशंकर सिंह बनाम नारद राय
बलिया नगर से इस बार भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष दयाशंकर सिंह को मैदान में उतारा है। उनकी पत्नी स्वाति सिंह योगी सरकार में मंत्री हैं। दयाशंकर के खिलाफ समाजवादी पार्टी ने पूर्व मंत्री नारद राय और बसपा ने शिवदास प्रसाद वर्मा को टिकट दिया है। कांग्रेस की तरफ से ओम प्रकाश को प्रत्याशी बनाया गया है। पिछली बार इस सीट से आनंद स्वरुप शुक्ला ने जीत हासिल की थी। आनंद योगी सरकार में संसदीय कार्य राज्यमंत्री भी हैं। इस बार आनंद की सीट बदलकर बैरिया कर दी गई है।
इन दिग्गजों की किस्मत भी दांव पर
छठे चरण चरण में कांग्रेस के अखिलेश प्रताप सिंह, बसपा से सपा में आए राम अचल राजभर, पूर्व मंत्री राममूर्ति वर्मा, श्रीराम चौहान, राम स्वरूप शुक्ला, राज किशोर सिंह और विनय शंकर तिवारी जैसे दिग्गजों की किस्मत भी दांव पर है।
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