राष्ट्रपति उम्मीदवार को लेकर 15 से अधिक दलों ने किया मंथन, दोबारा बैठक होने की संभावना

समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 15जून। देश के अगले राष्ट्रपति का चुनाव 18 जुलाई को होगा और वोटों की गिनती 21 जुलाई को की जाएगी. चुनाव के घोषणा के बाद से ही देश के अगले राष्ट्रपति को लेकर कयास तेज हो गए हैं. विपक्षी दलों ने भी राष्ट्रपति उम्मीदवार को लेकर लामबंदी शुरू कर दी है. इसी कड़ी में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने दिल्ली में बुधवार को विपक्षी दलों की बैठक बुलाई. बैठक में 15 से अधिक पार्टियों के नेता शामिल हुए. बैठक में एनसीपी प्रमुख शरद पवार को राष्ट्रपति उम्मीदवार के रूप में मनाने की कोशिश की गई हालांकि उन्होंने इससे इनकार कर दिया. रिपोर्ट्स के शरद पवार अभी सक्रिय राजनीति में रहना चाहते हैं.
बैठक के बाद बंगाल की सीएम ने कहा कि आज यहां कई पार्टियां उपस्थित थीं. हमने तय किया है कि हम केवल एक आम सहमति वाले उम्मीदवार को चुनेंगे. हर कोई इस उम्मीदवार को हमारा समर्थन देगा. हम दूसरों से सलाह मशविरा करेंगे. यह एक अच्छी शुरुआत है. हम कई महीनों के बाद एक साथ बैठे. उन्होंने कहा कि इस हफ्ते के अंत में हम एक और बैठक करेंगे. बैठक के बाद आरएसपी नेता एनके प्रेमचंद्रन ने कहा कि ममता बनर्जी ने राष्ट्रपति चुनाव के लिए विपक्ष के संयुक्त उम्मीदवार के तौर पर फारूक अब्दुल्ला और गोपालकृष्ण गांधी के नाम का सुझाव दिया.

कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा), द्रविड़ मुन्नेत्र कषगम (द्रमुक), राष्ट्रीय जनता दल (राजद) और वाम दलों के नेता बैठक में शरीक हुए. वहीं, आम आदमी पार्टी (आप), तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) और बीजू जनता दल (बीजद) इससे दूर रहें. शिवसेना, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा), मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा), भाकपा-एमएल, नेशनल कांफ्रेंस(नेकां), पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडपी) जद(से), आरएसपी, आईयूएएमएल, राष्ट्रीय लोकदल और झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेता भी बैठक में शरीक हुए.

NCP के शरद पवार और प्रफुल्ल पटेल, कांग्रेस के मल्लिकार्जुन खड़गे, जयराम रमेश और रणदीप सुरजेवाला, जनता दल (सेक्युलर) के एच डी देवगौड़ा और एस डी कुमार स्वामी, सपा के अखिलेश यादव, पीडीपी की महबूबा मुफ्ती, नेकां के उमर अब्दुल्ला बैठक में शरीक हुए प्रमुख नेताओं में शामिल थे. राष्ट्रीय राजधानी के कॉस्टी्यूशन क्लब में हुई बैठक से आप, टीआरएस, बीजद के अलावा शिरोमणि अकाली दल ने दूरी बनाई. पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने पिछले हफ्ते सात मुख्यमंत्रियों सहित 19 दलों के नेताओं को राष्ट्रीय राजधानी में एक बैठक में शामिल होने का न्योता दिया था.

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