समग्र समाचार सेवा
अहमदाबाद, 23 सितंबर। ईडी गुजरात के कच्छ में मुंद्रा बंदरगाह पर दो कंटेनरों से लगभग 3,000 किलोग्राम हेरोइन की रिकॉर्ड बरामदगी में मनी लॉन्ड्रिंग की जांच शुरू करने के लिए पूरी तरह तैयार है।
राजस्व खुफिया निदेशालय (DRI) ने गुजरात के कच्छ में मुंद्रा पोर्ट से 3,000 किलोग्राम हेरोइन जब्त की है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी कीमत 21 हजार करोड़ रुपये है। यह देश में सबसे बड़ी नशीली दवाओं की बरामदगी है।
डीआरआई के मुताबिक, दवा को दो कंटेनरों से जब्त किया गया है। एक में 2,000 किलो और दूसरे में 1,000 किलो हेरोइन है। जब्त हेरोइन को बीएसएफ के नियंत्रण में रखा गया है। अफगानिस्तान से रवाना हुई यह खेप 13 सितंबर को ईरान के अब्बास बंदरगाह से गुजरात के लिए रवाना हुई थी और उसे आंध्र प्रदेश के विजयवाड़ा पहुंचना था, लेकिन खुफिया एजेंसी को मिली सूचना पर सीबीआई ने बंदरगाह के बाहर छापेमारी की। जब्त हेरोइन को विजयवाड़ा की मेसर्स आशी ट्रेडिंग कंपनी के पते पर भेजा जाना था। 17 सितंबर को गिरफ्तार कंपनी के मालिक एम सुधाकर और उनकी पत्नी दुर्गापूर्णा राजस्व खुफिया निदेशालय के रिमांड पर हैं।
आशी ट्रेडिंग कंपनी को पिछले साल काकीनाडा पोर्ट से चावल निर्यात करने के लिए पंजीकृत किया गया था। इस पते पर टैल्कम स्टोन के नाम से हेरोइन की खेप मंगवाई गई। हालांकि, कंपनी का कहना है कि जिन कंटेनरों में हेरोइन जब्त की गई थी, उन्हें चेन्नई भेजा जाना था। कंधार के हसन हुसैनी ट्रेडर्स का नाम निर्यातक के रूप में दर्ज है।
सूत्रों के मुताबिक जब्त हेरोइन की कीमत अंतरराष्ट्रीय बाजार में प्रति किलोग्राम करीब 5-7 करोड़ रुपये आंकी गई है। ड्रग रिकवरी देश में हेरोइन की अब तक की सबसे बड़ी जब्ती और दुनिया भर में जब्त की गई अब तक की सबसे बड़ी खेप में से एक है. सूत्रों के अनुसार, ईडी ड्रग खेप की तस्करी के पीछे सिंडिकेट से जुड़े लोगों की जांच करेगा. संदेह है कि मामला आंध्र प्रदेश के विजयवाड़ा क्षेत्र में पंजीकृत एक कमर्शियल कंपनी से जुड़ा है।
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