NCP स्थापना दिवस: अजित पवार और सुप्रिया सुले ने अलग-अलग कार्यक्रमों में मनाया 26वां स्थापना दिवस, संभावित विलय पर अटकलें तेज

समग्र समाचार सेवा,

पुणे/मुंबई, 11 जून: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) ने मंगलवार को अपना 26वां स्थापना दिवस मनाया, लेकिन इस बार का जश्न एकजुटता की बजाय दो खेमों में बंटा नजर आया। पुणे में अजित पवार और सुप्रिया सुले के नेतृत्व में पार्टी के दोनों गुटों ने अलग-अलग समारोह आयोजित किए।

इस बीच, दोनों गुटों के बीच संभावित विलय की अटकलें भी राजनीतिक गलियारों में जोर पकड़ रही हैं।

अजित पवार गुट का समारोह: बीजेपी से गठबंधन का बचाव

महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री और NCP (अजित गुट) के प्रमुख अजित पवार ने पुणे में आयोजित समारोह को संबोधित किया। उन्होंने अपने 2023 में किए गए बगावत के फैसले का बचाव करते हुए कहा:

“सिर्फ विपक्ष में बैठकर नारे लगाना और मोर्चे निकालना काफी नहीं है। हम कोई संत नहीं हैं। हम यहां दिशा देने, समस्याएं हल करने और समावेशी राजनीति करने आए हैं।”

अजित पवार ने स्पष्ट किया कि बीजेपी से गठबंधन का मतलब उनकी पार्टी की विचारधारा से समझौता नहीं है।

महायुति में शामिल होने का तर्क

बीजेपी और एनडीए में शामिल होने को लेकर सवालों पर अजित ने कहा:

“2019 में हमने शिवसेना से भी समझौता किया था। राजनीति में निर्णय समय और परिस्थिति पर आधारित होते हैं।”

उन्होंने चंद्रबाबू नायडू और ममता बनर्जी का उदाहरण देते हुए कहा कि धर्मनिरपेक्ष नेता भी एनडीए से जुड़ चुके हैं।

लोकसभा चुनाव में प्रदर्शन पर आत्ममंथन

लोकसभा चुनाव 2024 में खराब प्रदर्शन को लेकर अजित पवार ने स्वीकार किया कि सुधार की जरूरत है। उन्होंने कार्यकर्ताओं से कहा कि वे स्थानीय निकाय चुनावों के लिए तैयार रहें, और यह भी बताया कि पार्टी अगले डेढ़ महीने में राज्यव्यापी रैलियां आयोजित करेगी।

नए चेहरों का स्वागत, लेकिन जिम्मेदारी उन्हीं को

अजित पवार ने संकेत दिया कि पार्टी में नए चेहरों का स्वागत होगा, लेकिन जिम्मेदारी सिर्फ उन्हें दी जाएगी जो खुद को साबित करेंगे। उन्होंने जोर दिया कि विभाजनकारी राजनीति से तात्कालिक लाभ मिल सकता है, लेकिन दीर्घकालिक विकास का मार्ग समावेशी राजनीति ही है।

शरद पवार गुट का स्थापना दिवस, सुप्रिया सुले ने की अगुवाई

दूसरी ओर, शरद पवार गुट की ओर से सांसद सुप्रिया सुले ने पुणे में अलग कार्यक्रम आयोजित किया। उन्होंने कहा:

“NCP हमेशा महाराष्ट्र और देश की जनता के साथ खड़ी रही है। अच्छे और बुरे दिन आते हैं, यही जीवन है।”

विलय की अटकलों पर सुप्रिया सुले का बयान

जब सुप्रिया सुले से अजित गुट से संभावित विलय के बारे में पूछा गया तो उन्होंने सीधे जवाब देने से बचते हुए कहा:

“अजित पवार और मैं परिवार के रूप में हमेशा साथ हैं। पार्टी विलय जैसे निर्णय कैमरे पर नहीं, बातचीत की टेबल पर होते हैं।”

उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि उनके गुट ने किसी विशेष सत्र की मांग नहीं की है।

NCP का 26वां स्थापना दिवस पार्टी की एकता से ज़्यादा विभाजन की तस्वीर लेकर आया। जहां एक ओर अजित पवार अपनी राजनीतिक रणनीति और एनडीए से गठबंधन को जायज ठहरा रहे हैं, वहीं सुप्रिया सुले और शरद पवार अब भी पारंपरिक विचारधारा और विपक्षी भूमिका में विश्वास रखते हैं।

हालांकि पारिवारिक रिश्तों का हवाला देकर दोनों गुटों के नेता एक-दूसरे से दूरी बनाए रखने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन विलय की संभावनाओं को पूरी तरह नकारा भी नहीं गया है।

 

 

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