समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 18दिसंबर। पाकिस्तान के विदेश मंत्री का बयान बेहद नापाक और शर्मनाक है. ये 1971 में भारत के हाथों आज हीं के दिन हुई उनकी पराजय का दर्द है. 93 हजार से ज्यादा पाकिस्तानी सैनिकों ने आज हीं दिन भारत के समक्ष सरेंडर किया था. इनके नाना फुट- फुट कर रोए थे. इन सब के बावजूद पाकिस्तान की धरती आज भी आतंकवाद की पनाहगार बनी हुई है. पाकिस्तानी सरकार सीधे इसमें संलिप्त है. आज इनके मंसूबे पूरी दुनिया जानती है.
पिछले आठ वर्षों में मोदी सरकार ने लगातार आतंकवाद के खिलाफ सही और कड़ी नीति अपनाकर स्पष्ट परिणाम दिए हैं. इस तरह के बयान किसी भी विदेश मंत्री को शोभा नहीं देते. मगर ये कोई पहली बार नहीं है जब पाकिस्तान ने पीठ में चुरा भोंका है. इससे पूर्व भी ये अपनी नीचता का खुला प्रदर्शन करते आये हैं. पाकिस्तान आतंकवाद का जनक, जननी और पनाहगार है.
ओसामा बिन लादेन को अमेरिका ने पाकिस्तान में घुस कर मारा. भारत ने भी आतंकवादियों के खिलाफ घुस कर सर्जिकल स्ट्राइक की. आतंकवादियों को मारने कहाँ घुसना पड़ता है, सब को पता है. पाकिस्तान इसपे अपना मुँह नहीं छुपा सकता है. केवल खराब बयानबाजी कर अगर वो सोचते हैं की अपना पिंड छुड़ा लेंगे, तो ये नहीं होने वाला. बेहतर होगा की पाकिस्तानी विदेश मंत्री अपने यहाँ से आतंकवाद का सफाया करने पर ध्यान दें.
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