समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 29 जून: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ‘मन की बात’ कार्यक्रम के 123वें एपिसोड में इस बार अंतरराष्ट्रीय योग दिवस की सफलता पर खास चर्चा की। उन्होंने कहा कि इस बार भी 21 जून को भारत ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में करोड़ों लोगों ने योग दिवस में भाग लिया। पीएम मोदी ने विशाखापत्तनम के समुद्र तट से लेकर हिमालय की चोटियों तक और न्यूयॉर्क, लंदन, टोक्यो जैसे बड़े शहरों में योग की भव्य झलक का जिक्र किया। उन्होंने कहा कि योग सिर्फ शरीर को स्वस्थ रखने का माध्यम नहीं बल्कि शांति और संतुलन का प्रतीक भी है।
उन्होंने बताया कि विशाखापत्तनम में तीन लाख लोगों ने समुद्र किनारे योग किया और दो हजार आदिवासी छात्रों ने एक साथ 108 मिनट तक 108 सूर्य नमस्कार किए। वडनगर में 2121 लोगों ने भुजंगासन कर नया रिकॉर्ड बनाया। पीएम ने कहा कि इस बार की थीम ‘एक पृथ्वी, एक स्वास्थ्य’ नारा नहीं बल्कि पूरी मानवता को जोड़ने का संदेश है।
तीर्थयात्राओं को बताया एकता का प्रतीक
पीएम मोदी ने धार्मिक यात्राओं का महत्व बताते हुए कहा कि तीर्थयात्राएं न सिर्फ आस्था का माध्यम हैं बल्कि सेवा और भाईचारे का भी परिचायक हैं। उन्होंने भगवान जगन्नाथ जी की रथयात्रा का उदाहरण देते हुए कहा कि ओडिशा, गुजरात समेत देश के कोने-कोने से लाखों श्रद्धालु इस यात्रा में शामिल होते हैं। प्रधानमंत्री ने यात्रियों को शुभकामनाएं दीं और सेवा में जुटे लोगों को साधुवाद भी दिया।
आपातकाल को बताया लोकतंत्र की हत्या
मन की बात में पीएम मोदी ने आपातकाल के 50 वर्ष पूरे होने पर भी अपने विचार रखे। उन्होंने कहा कि आपातकाल लगाने वालों ने सिर्फ संविधान को कुचलने की कोशिश नहीं की बल्कि न्यायपालिका को भी अपने अधीन रखने का इरादा रखा। उन्होंने कहा कि जनता के संघर्ष और लोकतांत्रिक चेतना ने आखिरकार आपातकाल हटवाया और लोकतंत्र को फिर जीवित किया।
सामाजिक सुरक्षा की बड़ी उपलब्धि
प्रधानमंत्री ने मन की बात में देश की सामाजिक सुरक्षा योजनाओं का भी जिक्र किया। उन्होंने बताया कि हाल ही में आई अंतरराष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO) की रिपोर्ट में कहा गया कि अब भारत की 64% से अधिक आबादी को किसी न किसी सामाजिक सुरक्षा योजना का लाभ मिल रहा है। पीएम ने कहा कि आज 95 करोड़ से ज्यादा लोग इस सुरक्षा कवच से जुड़े हैं, जबकि 2015 तक स्थिति काफी अलग थी। उन्होंने विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा भारत को ट्रेकोमा मुक्त घोषित करने की भी सराहना की और इसे हेल्थ वर्कर्स और देशवासियों की मेहनत का परिणाम बताया।
Comments are closed, but trackbacks and pingbacks are open.