प्रधानमंत्री मोदी ने आयुष्मान भारत हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर मिशन को किया लॉन्च, गरीबों का सपना होगा पूरा
समग्र समाचार सेवा
वाराणसी, 25अक्टूबर। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को वाराणसी में 5000 करोड़ से ज्यादा की परियोजनाओं का लोकार्पण किया। इससे पहले पीएम मोदी ने सिद्धार्थनगर से राज्य के 9 मेडिकल कॉलेजों का वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए का उद्घाटन किया। इस अवसर पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने कहा कि एक साथ 9 मेडिकल कॉलेज का उद्घाटन कोई छोटी-मोटी बात नहीं है। उन्होंने कहा, यह मेडिकल कॉलेज वर्तमान और भविष्य की पीढ़ियों को भी लाभ देंगे।
पीएम मोदी ने आज यहां भोजपुरी में अपना भाषण शुरू किया। पीएम मोदी ने दीपावली, छठ समेत आगामी पर्वों की बधाई और शुभकामनाए दीं। कार्यक्रम में उपस्थित नेताओं और अधिकारियों का स्वागत करने के बाद 100 करोड़ टीकरण पर हर्ष जताया।
पीएम मोदी ने कहा कि आज ही कुछ समय पहले एक कार्यक्रम में मुझे उत्तर प्रदेश को 9 नए मेडिकल कॉलेज अर्पण करने का मौका भी मिला है। इससे पूर्वांचल और पूरे UP के करोड़ों गरीबों, दलितों, पिछड़ों शोषितों, वंचितों जैसे समाज के सब वर्गों को बहुत फायदा होगा।
पीएम मोदी ने कहा कि आजादी के बाद के लंबे कालखंड में आरोग्य पर, स्वास्थ्य सुविधाओं पर उतना ध्यान नहीं दिया गया, जितनी देश को जरूरत थी। देश में जिनकी लंबे समय तक सरकारें रहीं, उन्होंने देश के हेल्थकेयर सिस्टम के संपूर्ण विकास के बजाय, उसे सुविधाओं से वंचित रखा।
देश में 80 वायरल डायग्नोस्टिक लैब हैं और इनको और सशक्त बनाया जाएगा। आयुष्मान भारत योजना ने दो करोड़ से अधिक गरीबों का अस्पताल में मुफ्त इलाज भी करवाया है। इलाज से जुड़ी अनेक परेशानियों को आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन के जरिए हल किया जा रहा है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वाराणसी से ही प्रधानमंत्री आत्मनिर्भर स्वस्थ भारत योजना का भी शुभारंभ किया। इस मौके पर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उनका जोरदार शब्दों से स्वागत किया।
सिद्धार्धनगर में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने कहा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में मेडिकल शिक्षा के क्षेत्र में प्रगति हुई है। उन्होंने कहा, केंद्र सरकार ने देश में 157 मेडिकल कॉलेज खोले हैं। इस अवसर पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रधानमंत्री को भगवान गौतमबुद्ध की मूर्ति भेंट की।
सरकार का दावा है कि इस योजना के तहत अगले छह साल में कुल 64,180 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। इस योजना को हाल ही में इसे कैबिनेट की मंजूरी मिली है। योजना का ऐलान इस साल एक फरवरी को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट पेश करते हुए किया था। बताया जा रहा है कि योजना के तहत सबसे कमजोर हेल्थ केयर इंफ्रास्ट्रक्चर वाले 10 राज्यों पर विशेष फोकस किया जाएगा। इसके साथ ही देश के 602 जिलों में क्रिटिकल केयर सुविधाएं भी शुरू की जाएंगी।
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