केरल में महंगी बिजली पर सियासत गर्म, कांग्रेस ने लगाया पिनरई सरकार पर अदाणी को लाभ पहुंचाने का आरोप

समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली,7 दिसंबर।
तिरुवनंतपुरम: केरल में बिजली दरों में बढ़ोतरी के बाद राजनीतिक माहौल गर्म हो गया है। लोगों को बिजली के बिल में भारी वृद्धि का सामना करना पड़ रहा है, जिससे आम जनता में नाराजगी बढ़ रही है। इस मुद्दे पर कांग्रेस ने राज्य की पिनरई विजयन सरकार पर तीखा हमला बोलते हुए आरोप लगाया है कि यह कदम अदाणी समूह को लाभ पहुंचाने के लिए उठाया गया है।

बिजली दरों में वृद्धि का कारण

राज्य सरकार ने बिजली दरों में हालिया वृद्धि के लिए उत्पादन लागत में बढ़ोतरी और अन्य आर्थिक दबावों को जिम्मेदार ठहराया है। अधिकारियों का कहना है कि बिजली आपूर्ति के लिए राज्य को बाहरी स्रोतों से बिजली खरीदनी पड़ रही है, जिसके कारण यह फैसला लिया गया।

कांग्रेस का आरोप

कांग्रेस ने इस बढ़ोतरी को “जनविरोधी” करार देते हुए आरोप लगाया कि पिनरई सरकार ने जानबूझकर अदाणी समूह को लाभ पहुंचाने के लिए बिजली के दाम बढ़ाए हैं।

“पिनरई विजयन सरकार आम जनता पर बोझ डाल रही है और अदाणी जैसे कॉरपोरेट घरानों को फायदा पहुंचा रही है,” कांग्रेस नेता ने कहा।

कांग्रेस ने यह भी आरोप लगाया कि राज्य सरकार ने अदाणी समूह के साथ बिजली खरीद समझौता (PPA) को प्राथमिकता दी, जिसके कारण बिजली की लागत में वृद्धि हुई।

जनता में नाराजगी

बिजली दरों में अचानक हुई इस वृद्धि ने आम जनता को झटका दिया है। कई उपभोक्ता, विशेषकर मध्यम और निम्न आय वर्ग के लोग, बढ़े हुए बिजली बिलों का भुगतान करने में असमर्थ हैं।

“हम पहले से ही महंगाई की मार झेल रहे हैं, अब बिजली के दाम बढ़ने से और मुश्किल हो गई है,” एक स्थानीय निवासी ने कहा।

सरकार का पक्ष

पिनरई सरकार ने कांग्रेस के आरोपों को खारिज करते हुए इसे “बेबुनियाद” और “राजनीतिक लाभ के लिए उठाया गया मुद्दा” बताया। सरकार ने कहा कि बिजली दरों में वृद्धि राज्य की आर्थिक स्थिति और बिजली खरीद लागत में हुई बढ़ोतरी के कारण की गई है।

“हम जनता की भलाई के लिए काम कर रहे हैं और किसी भी कॉरपोरेट को लाभ पहुंचाने का हमारा कोई इरादा नहीं है,” सरकार के प्रवक्ता ने कहा।

राजनीतिक प्रतिक्रिया

इस मुद्दे पर भाजपा ने भी कांग्रेस और पिनरई सरकार दोनों पर हमला किया है। भाजपा ने इसे राज्य की विफल ऊर्जा नीति का नतीजा बताते हुए कहा कि सभी दल केवल अपनी राजनीतिक रोटियां सेंकने में लगे हैं।

निष्कर्ष

बिजली दरों में बढ़ोतरी ने केरल की राजनीति में नया विवाद खड़ा कर दिया है। जहां एक ओर कांग्रेस इसे अदाणी समूह के साथ जोड़कर राज्य सरकार पर निशाना साध रही है, वहीं दूसरी ओर सरकार इसे आर्थिक परिस्थितियों की मजबूरी बता रही है। यह देखना दिलचस्प होगा कि जनता के दबाव और राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप के बीच सरकार इस मुद्दे को कैसे सुलझाती है।

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