समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 17मई। भारतीय रेलवे ने पिछले दो सालों में वरिष्ठ नागरिकों को टिकट में छूट नहीं दिया और ऐसा करके रेलवे ने बहुतं बड़ी कमाई की है। रेलवे ने वरिष्ठ नागरिकों को टिकट में छूट नहीं देकर 3,464 करोड़ रुपए से अधिक का अतिरिक्त राजस्व अर्जित किया है। दरअसल कोविड महामारी के दौरान वरिष्ठ नागरिकों को टिकट में दी जाने वाली रियायत निलंबित कर दी थी और इससे बंपर कमाई की है।
सूचना के अधिकार कानून के तहत पूछे गए एक सवाल के जवाब में ये जानकारी निकलकर सामने आई है कि 20 मार्च 2020 से 31 मार्च 2022 के बीच रेलवे ने 7.31 करोड़ वरिष्ठ नागरिकों को यात्रा में रियायत ना देकर राजस्व अर्जित किया है। इससे पहले रेल यात्रा के दौरान वरिष्ठ नागरिकों को टिकट में छूट दी जाती थी लेकिन कोविड महामारी के दौरान इसे बंद कर दिया गया था जिसे अब तक जारी रखा गया है।
जानकारी के अनुसार 60 वर्ष से अधिक आयु के 4.46 करोड़ पुरुष और 58 वर्ष से अधिक आयु की 2.84 करोड़ महिला और 8,310 ट्रांसजेंडर लोगों को छूट न दिए जाने के बाद रेलवे ने 2 साल की अवधि के दौरान कुल 3464 करोड़ रुपए का राजस्व अर्जित किया है। इसमें दूसरी रियायतों के निलंबन के कारण अर्जित अतिरिक्त 15,100 करोड़ रुपए भी शामिल है।
मध्य प्रदेश के चंद्रशेखर गॉड की ओर से दायर आरटीआई के सवाल के जवाब में रेलवे ने कहा है कि वरिष्ठ नागरिकों में पुरुष यात्रियों से 2,082 करोड रुपए, महिला यात्रियों से 1,381 करोड़ रुपए, ट्रांसजेंडर से 45.58 लाख रुपए राजस्व हासिल हुआ।
गौरतलब है कि अब तक वरिष्ठ नागरिकों को टिकट पर 50 फीसदी रियायत दी जाती थी। इसी तरह महिलाओं को 58 वर्ष की आयु के बाद यह रियायत दी जाती थी और पुरुषों को 60 वर्ष के बाद यात्रा में रियायत दी जाती थी। फिलहाल रेलवे की ओर से पिछले 2 सालों में इसे निलंबित कर दिया गया है।
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