शाहबाज शरीफ आज चुने जाएंगे पाकिस्तान के प्रधानमंत्री, शाह महमूद कुरैशी ने भी किया है नामांकन

समग्र समाचार सेवा

इस्‍लामाबाद, 11 अप्रैल। पाकिस्‍तान में जारी सियासी बवाल खत्‍म होने का नाम नहीं ले रहा है। वहां पर सोमवार को पीएमएल-एन अध्‍यक्ष शाहबाज शरीफ को देश के 23वें प्रधानमंत्री के तौर पर चुना जाना लगभग तय है। जल्‍द ही इसकी घोषणा भी कर दी जाएगी। एक बार आधिकारिक तौर पर चुने जाने के बाद उनका शपथ ग्रहण समारोह होगा। बताया जा रहा है कि उनके मंत्रिमंडल में कई पार्टियों का प्रतिनिधित्‍व देखने को मिलेगा।

इमरान खान बुरी तरह से बौखलाए हुए

इस बीच अविश्‍वास प्रस्‍ताव के जरिए पीएम की कुर्सी से हटाए गए इमरान खान बुरी तरह से बौखलाए हुए हैं। पाकिस्‍तान के अखबार डान के मुताबिक रविवार को शाहबाज शरीफ और पीएमएल-एन के नेता और पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने भी पीएम पद के लिए अपना नामांकन दाखिल कराया है।

नई सरकार का सड़कों पर उतरकर विरोध करें

उन्‍होंने पीटीआई समर्थकों से कहा है कि वो नई सरकार का सड़कों पर उतरकर विरोध करें। इमरान खान और उनकी पार्टी के नेता लगातार इस बात को कह रहे हैं कि उनकी सरकार को गिराने में विपक्ष को विदेशी ताकतों का पूरा समर्थन मिला है। रविवार की रात को भी पीटीआई समर्थकों ने इस्‍लामाबाद, कराची, पेशावर और लाहौर समेत देश के दूसरे शहरों में इमरान खान को सत्‍ता से हटाने के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया था।

नेशनल असेंबली के बाहर इसी तरह का विरोध प्रदर्शन देखने को मिला था

इससे पहले शनिवार को भी नेशनल असेंबली के बाहर इसी तरह का विरोध प्रदर्शन देखने को मिला था। विरोध प्रदर्शन कर रहे लोगों के हाथों में इमरान खान की पार्टी के झंडे, बैनर और इमरान के पोस्‍टर थे। इन विरोध प्रदर्शनों में काफी संख्‍या में महिलाओं ने भी हिस्‍सा लिया। इसके चलते कई जगहों पर जबरदस्‍त जाम भी लग गया था।

देश को अपनी आजादी के लिए लड़ना होगाः इमरान

इमरान खान का कहना है कि उन्‍हें सत्‍ता से हटाने के बाद एक बार फिर से देश को अपनी आजादी के लिए लड़ना होगा। उन्‍होंने ये भी कहा कि देश की जनता हर बार खुद को आजाद करने के लिए खड़ी होती आई है। इस बार भी ऐसा ही करना होगा। इमरान सरकार के पूर्व मंत्री फवाद चौधरी ने भी लोगों से सड़कों पर उतरकर नई सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने को कहा है। डान के मुताबिक इमरान खान ने कहा है कि इस तरह का विरोध प्रदर्शन देश के इतिहास में पहली बार देखने को मिला है। उनके मुताबिक लाखों लोगों की ये संख्‍या इस बात की गवाह है कि देश विदेशी ताकत की बिठाई सरकार को बर्दाश्‍त नहीं करेगा।

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