खरी खरी- कोरोना महामारी के दौरान कुछ लोगों की बौद्धिक जुगाली

*शिशिर सोनी
पिछले कई दिनों से कई लोगों के विचार सुन, पढ़ रहा हूँ। “कोरोना को देखते हुए मोदी सरकार को सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट पर रोक लगा देनी चाहिए।”
इसका राजनीतिक लाभ लेने के लिए छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार ने आज विधान सभा भवन, अतिथि गृह सहित सभी सरकारी इमारतों के निर्माण पर रोक लगा दी और केंद्र सरकार को अब छत्तीसगढ़ मॉडल पर सेंट्रल विस्टा के निर्माण को रोकने की चुनौती दी।

सार

परिवार में कोई स्वर्ग सिधार जाएं तो हिंदू रीति रिवाजों को ताक पर रख तीन दिनों में श्राद्ध कर्म कर, चौथे दिनों से धंधा शुरू करने वाले लोग लगातार हिदायत दे रहे हैं कि कोरोना से मौतों के आगे सेंट्रल विस्टा के निर्माण पर रोक लगनी चाहिए। क्यों? क्योंकि कुछ को बौद्धिक जुगाली करनी है। कुछ को राजनीतिक रोटी सेकनी है।

ये ठीक है कि केंद्र हो या राज्य सरकारें, जो कल तक कोरोना से निपटने की हर माकूल तैयारियों की ढिंढोरा पीट रहे थे, उन्होंने जूते खाने लायक नाकाफी तैयारियां की हैं। इस पर विस्तार से विमर्श फिर कभी।

मगर ऐसे उपदेश देने वाले क्या ये समझते हैं कि किसी भी चलते हुए प्रोजेक्ट को बंद करने से उसका प्रोजेक्ट-कॉस्ट तेजी से बढ़ता है। आधे निर्माण को बीच में बंद करने से निर्माणाधीन इमारत का भी भारी नुकसान होता है,सो अलग।

इसकी भरपाई किसे करनी होगी? किसी नेता, या सरकार के पॉकेट से पैसा जायेगा? नहीं। पांच रुपये का काम बाद में पचास में होगा, तब भी पैसा हमसे, आपसे ही जबरिया वसूला जायेगा। ऐसे में किसी निर्माण पर रोक की मांग कहाँ तक तर्कपूर्ण है ? क्या ये उचित है?

छत्तीसगढ़ सरकार ने मूर्खतापूर्ण निर्णय किया है। मूर्खता की इस प्रतिस्पर्धा में वो अब केंद्र को शामिल करना चाहती है। सूबे की जनता को समझना होगा कि इस निर्णय से नेताओं के पॉकेट पर फर्क नहीं पड़ेगा, बाद में इस निर्णय के नुकसान की वसूली भी आम जनता से ही होगी। दो कौड़ी की राजनीति चमकाने वालो को चेत जाना चाहिए। देश की जनता को बेवकूफ नहीं बनाना चाहिए।

कोरोना एक त्रासदी है। उससे निपटने की तैयारी के नाम पर देश को सिर्फ ठगा गया, ये सच है। देश की स्वास्थ्य व्यवस्था पर विदेशी मीडिया छप्पन इंची सरकार की बखिया उधेड़ रही है, ये भी सच है। इस पर सरकारों को घेरो। मगर, चल रहे प्रोजेक्ट को रोकने की मांग कर तय मानों देश का और नुकसान करने की तुम जिद पाले हो। ये पागलपन बंद करो…

शो मस्ट गो ऑन

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