राजस्थान की जनता और उनके प्रतिनिधियों ने भारतीय लोकतंत्र की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है: राष्ट्रपति मुर्मु

समग्र समाचार सेवा
जयपुर, 15जुलाई। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने 14 जुलाई को जयपुर में ‘लोकतंत्र को मजबूत करने में राजस्थान विधानमंडल के प्रमुख संवैधानिक पदाधिकारियों की भूमिका’ विषय पर एक संगोष्ठी को संबोधित किया। यह संगोष्ठी भैरों सिंह शेखावत की जन्म शताब्दी मनाने के लिए राष्ट्रमंडल संसदीय संघ (राजस्थान शाखा) के तत्वावधान में राजस्थान विधानसभा द्वारा आयोजित की गई थी।

इस अवसर पर अपने संबोधन में, राष्ट्रपति ने कहा कि भैरों सिंह शेखावत ने न केवल राजस्थान बल्कि पूरे देश की राजनीति में अपने विराट व्यक्तित्व की अमिट छाप छोड़ी है। राजस्थान के मुख्यमंत्री के रूप में, उन्होंने राज्य के विकास एवं लोगों के कल्याण के लिए कई योजनाओं की परिकल्पना की और उन्हें लागू किया। भारत के उपराष्ट्रपति के रूप में उन्होंने भारतीय संसद की उच्च परंपराओं का निर्वहन किया और उन्हें समृद्ध भी किया। उन्होंने राजस्थान और देश के भविष्य के निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनके आदर्श हमारे देश के सभी जनप्रतिनिधियों के लिए अनुकरणीय हैं।

राष्ट्रपति ने कहा कि भारत में लोकतांत्रिक व्यवस्था निरंतर मजबूत हो रही है। हमारा देश दुनिया की सबसे बड़ी विविधता को समाहित करते हुए लोकतांत्रिक तरीकों से अपनी विकास यात्रा में आगे बढ़ रहा है। आजादी के बाद के 75 वर्षों में, हमारे देश ने सभी चुनौतियों का सामना करते हुए अपने लोकतांत्रिक मूल्यों को मजबूत बनाए रखा है। उन्होंने कहा कि हमारे लोकतंत्र की जीवंतता का सबसे बड़ा प्रमाण आम चुनाव हैं। वर्ष 2019 में हुए सत्रहवीं लोकसभा के चुनाव में कुल 61.3 करोड़ मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया, जोकि एक रिकॉर्ड था। उन्होंने कहा कि पहली बार महिला सांसदों की संख्या 100 का आंकड़ा पार कर गई। उन्होंने विश्वास जताया कि यह संख्या आगे और बढ़ेगी।

राष्ट्रपति ने कहा कि हमारी लोकतांत्रिक व्यवस्था में समाज के सभी लोगों, विशेषकर पिछड़े एवं कमजोर वर्गों तथा महिलाओं को प्रतिनिधित्व प्रदान किया गया है। पंचायती राज व्यवस्था हमारे लोकतंत्र में मौलिक भूमिका निभा रही है। आज 2.75 लाख से अधिक स्थानीय ग्रामीण निकायों में 31.5 लाख से अधिक निर्वाचित प्रतिनिधियों में से 46 प्रतिशत महिलाएं हैं।

राष्ट्रपति ने कहा कि राजस्थान की जनता और उनके प्रतिनिधियों ने भारतीय लोकतंत्र की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उन्होंने विश्वास जताया कि राजस्थान के लोग संसदीय लोकतंत्र के मूल्यों को मजबूत करेंगे और राज्य एवं देश के विकास में योगदान देना जारी रखेंगे।

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