स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्यमंत्री डॉ. भारती प्रवीण पवार और विदेश राज्यमंत्री श्री एस.वी. मुरलीधरन ने केरल के तिरुवनंतपुरम में पहली जी-20 स्वास्थ्य कार्य-समूह की बैठक के आरंभिक सत्र को संबोधित किया

समग्र समाचार सेवा
तिरुवनंतपुरम, 19जनवरी। भारत की जी-20 की अध्‍यक्षता के अंतर्गत स्वास्थ्य संबंधी कार्य समूह की पहली बैठक वर्तमान में केरल के तिरुवनंतपुरम में चल रही है। इस बैठक में सदस्य, अतिथि देश और आमंत्रित अंतर्राष्ट्रीय संगठनों सहित प्रतिभागी भाग ले रहे हैं।

बैठक के पहले दिन गहन विचार-मंथन के विविध सत्र आयोजित किए गए । उद्घाटन सत्र में भारत के स्वास्थ्य ट्रैक की तीन प्रमुख प्राथमिकताओं पर विस्तृत रूप से ध्‍यान केंद्रित किया गया। उद्घाटन सत्र के आरंभ में केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्य मंत्री डॉ. भारती प्रवीण पवार, केंद्रीय विदेश राज्य मंत्री श्री एस. वी. मुरलीधरन ने मुख्य भाषण दिये। डॉ भारती प्रवीण पवार ने कहा “महामारी के संबंध में भारत की नीति हमारी स्वास्थ्य नीति का निर्णायक हिस्सा होनी चाहिये, क्योंकि आज आपस में जुड़े विश्व की बहु-क्षेत्रीय प्रकृति के कारण कोई भी स्वास्थ्य संकट आर्थिक संकट बन सकता है।”

भारत की चिकित्सा पद्धतियों और नवाचार की सुदृढ़ संस्कृति को रेखांकित करते हुये श्री एस. वी. मुरलीधरन ने माननीय प्रधानमंत्री के “एक धरती, एक परिवार, एक भविष्य” के आह्वान का हवाला देते हुये कहा कि यह प्रो-प्‍लेनेट दृष्टिकोण है, जो उत्‍तरोत्‍तर वैश्वीकृत विश्‍व में प्रकृति के साथ समरसता के अनुरूप है । उन्होंने डिजिटल स्वास्थ्य के परिदृश्य में भारत के नवाचारों, सफलता की कहानियों और प्रगति को प्रदर्शित करने वाली एक प्रदर्शनी का उद्घाटन किया।

इसके बाद त्रोइका देशों (इंडोनेशिया, भारत और ब्राजील) की ओर से प्रारंभिक भाषण दिए गए। केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव श्री राजेश भूषण ने महामारी की रोकथाम, तैयारी, प्रतिक्रिया और अभिसरण, प्रो-प्‍लेनेट दृष्टिकोण, एएमआर और वन हेल्थ पर निरंतर ध्यान केंद्रित करने, वैक्सीन, चिकित्‍सकीय और नैदानिक (वीटीडी) के लिए ब्लूप्रिंट तैयार करने, देशों के लिए एक वैश्विक नेटवर्क को सामंजस्‍यपूर्ण बनाने, डिजिटल स्वास्थ्य पर आम सहमति बनाने और उसके लिए निधियां जुटाने की आवश्यकता को रेखांकित किया।

पहले सत्र के दौरान “स्वास्थ्य संबंधी आपात स्थितियों की रोकथाम, तैयारी और प्रतिक्रिया” विषय पर प्रमुख वक्ताओं में डॉ. एंडर्स नॉर्डस्ट्रॉम, एंबेसेडर ऑफ ग्‍लोबल हेल्‍थ, विदेश मंत्रालय, स्वीडन, प्रोफेसर विनोद के पॉल, सदस्य, नीति आयोग, और डब्ल्यूएचओ की पेंडेमिक एंड ऐपिडेमिक डिसीज डिपार्टमेंट की निदेशक डॉ. सिल्वी ब्राएंड शामिल थे। डॉ पॉल ने कोविन प्लेटफॉर्म और पिछले कुछ वर्षों में भारत में विकसित अन्य डिजिटल स्वास्थ्य हस्तक्षेपों के बारे में विस्तार से बताया। उन्होंने दिखाया कि कैसे भारत ने दुनिया के लाभ के लिए कोविन प्लेटफॉर्म को एक डिजिटल सार्वजनिक वस्‍तु में बदल दिया। वहीं दूसरी ओर, डॉ. सिल्वी ब्रायंड ने 5सी के ब्लूप्रिंट के माध्यम से दुनिया को भविष्य की स्वास्थ्य संबंधी आपात स्थितियों के लिए तैयार रहने की आवश्यकता को रेखांकित किया।

सत्र 2 के दौरान डब्ल्यूएचओ की पूर्व मुख्य वैज्ञानिक डॉ. सौम्या स्वामीनाथन ने वीटीडी के मूलभूत अंगों के आसपास केंद्रित “सुरक्षित, प्रभावी, गुणवत्तापूर्ण और किफायती चिकित्सा प्रत्युपायों तक पहुंच और उनकी उपलब्धता पर ध्यान केंद्रित करने सहित फार्मास्युटिकल क्षेत्र में सहयोग को मजबूत करना” विषय पर चर्चा की। उन्होंने नैदानिक परीक्षणों को मजबूत करने के साथ-साथ प्रभावी अनुसंधान और विकास की आवश्यकता पर विस्तार से बताया। डॉ. स्वामीनाथन ने एलएमआईसी (निम्न और मध्यम आय वाले देशों) में आरएंडडी और वैक्सीन, चिकित्‍सकीय और नैदानिक (वीटीडी) के निर्माण में खामियों को रेखांकित किया । उन्होंने एकजुटता, जवाबदेही और पारदर्शिता पर ध्यान केंद्रित करने सहित उचित आवंटन ढांचे के आठ सिद्धांतों पर भी चर्चा की। डॉ. सौम्या ने प्रौद्योगिकी हस्तांतरण और विविध विनिर्माण, अनुसंधान एवं विकास नेटवर्क और सहयोग की स्थापना के महत्व के बारे में सूचित किया।

अन्य महत्वपूर्ण वक्ताओं में डीजी-डब्ल्यूएचओ के वरिष्ठ सलाहकार डॉ. रेमंड ब्रूस जे. आयलवर्ड शामिल थे। डॉ. आयलवर्ड ने भविष्य की महामारियों के लिए नए मेडिकल काउंटर मेजर्स (एमसीएम) प्लेटफॉर्म के विजन, दायरे और डिजाइन सहित उनके औचित्‍य के बारे में समझाया। उन्होंने मंच की समावेशिता, पारदर्शिता, समयबद्धता और दक्षता पर ध्यान देने की आवश्यकता पर बल दिया।

बैठक के पहले दिन सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ-साथ द्विपक्षीय बैठकें भी हुईं। समारोह में केलिग्राफी (मलयालम) के साथ-साथ कथकली की प्रस्‍तुति, कलामेझुथ, सरप्पक्कलम कला का प्रदर्शन किया गया। दिन की समाप्ति विश्व एक परिवार के रूप में विषय पर एक मल्टीमीडिया मेगा शो के साथ हुई ।

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