भारतीय वस्तुओं पर अमेरिकी टैरिफ बढ़ोतरी पर नितिन गडकरी का आत्मनिर्भरता का संदेश

समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 11 अगस्त: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारतीय वस्तुओं पर अतिरिक्त 25 प्रतिशत शुल्क लगाने के आदेश पर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। ट्रंप के 6 अगस्त के आदेश के बाद भारत पर कुल टैरिफ 50 प्रतिशत तक पहुंच गया है, जिससे भारत अमेरिकी इतिहास में सबसे अधिक कर लगाए जाने वाले व्यापारिक साझेदारों में शामिल हो गया है।

गडकरी का जवाब: आत्मनिर्भरता और तकनीकी प्रगति की अपील
नागपुर स्थित विश्वेश्वरैया राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान (VNIT) में बोलते हुए गडकरी ने कहा कि वैश्विक मंच पर “दादागिरी” करने वाले देश अपनी आर्थिक ताकत और तकनीकी बढ़त के बल पर ऐसा कर पाते हैं। उन्होंने जोर देकर कहा कि भारत को निर्यात बढ़ाने, आयात घटाने और आत्मनिर्भर बनने के लिए विज्ञान और प्रौद्योगिकी का अधिकतम उपयोग करना चाहिए।

गडकरी ने कहा, “जो लोग दादागिरी कर रहे हैं, वे ऐसा इसलिए कर रहे हैं क्योंकि वे आर्थिक रूप से मजबूत हैं और उनके पास बेहतर तकनीक है। अगर हमारे पास बेहतर तकनीक और संसाधन होंगे, तो हम कभी किसी पर धौंस नहीं जमाएंगे, क्योंकि हमारी संस्कृति ‘विश्व कल्याण’ को सबसे ऊपर रखती है।”

विज्ञान और अनुसंधान का महत्व
केंद्रीय मंत्री ने बताया कि आज की दुनिया की सभी चुनौतियों का समाधान विज्ञान, तकनीक और ज्ञान में छिपा है। उनका मानना है कि अनुसंधान केंद्रों, IITs और इंजीनियरिंग संस्थानों को देश की वास्तविक जरूरतों के आधार पर शोध कार्य करना चाहिए। उन्होंने कहा कि यदि सभी क्षेत्रों की विशिष्टताओं को ध्यान में रखकर विकास किया जाए, तो भारत की आर्थिक विकास दर तीन गुना तक बढ़ सकती है।

अमेरिका-भारत टैरिफ विवाद
डोनाल्ड ट्रंप के आदेश के अनुसार, 25 प्रतिशत का पहला टैरिफ 7 अगस्त से लागू हो चुका है, जबकि शेष 25 प्रतिशत टैरिफ 27 अगस्त से लागू होगा। व्हाइट हाउस ने इस टैरिफ को भारत द्वारा रूसी तेल की लगातार खरीद से जोड़ा है। इस कदम से दोनों देशों के बीच पिछले दो दशकों की सबसे गंभीर कूटनीतिक खाई पैदा हो गई है।

इसके साथ ही, अमेरिका ने व्यापार वार्ता को स्थगित कर दिया है और आगे और प्रतिबंधों की चेतावनी भी दी है।

भारत का रुख और नेतृत्व का संदेश
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्पष्ट किया है कि भारत अपने किसानों, मछुआरों और डेयरी श्रमिकों के हितों से कोई समझौता नहीं करेगा, चाहे इसके लिए भारी कीमत क्यों न चुकानी पड़े। नितिन गडकरी के बाद, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भी अप्रत्यक्ष रूप से ट्रंप पर तंज कसा। उन्होंने कहा कि कुछ लोग भारत की तेज़ विकास दर से असहज हैं और कोशिश कर रहे हैं कि भारत में बने उत्पादों की कीमतें बढ़ जाएं ताकि उनकी प्रतिस्पर्धात्मकता कम हो।

राजनाथ सिंह ने विश्वास जताया कि कोई भी ताकत भारत को विश्व की बड़ी ताकत बनने से नहीं रोक सकती।

 

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